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उन्होंने यह भी कहा है कि लोकसभा वेबसाइट और दूसरे सरकारी रिकॉर्ड में भी जरूरी बदलाव किए जाएं. इससे पहले मंगलवार को चुनाव आयोग ने अंतरिम उपाय के तौर पर चिराग पासवान और पशुपति कुमार पारस के गुटों को पार्टी के अलग-अलग नाम और चुनाव चिह्न आवंटित कर दिए.
चिराग पासवान और पशुपति पारस को लिखे अलग-अलग पत्रों में चुनाव आयोग ने कहा कि उसने चिराग पासवान गुट को ‘लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास)’ नाम और चुनाव चिह्न ‘हेलीकॉप्टर’ आवंटित किया है. चुनाव आयोग ने कुछ दिन पहले ही इन पर ‘लोक जनशक्ति पार्टी’ (लोजपा) या पार्टी के चुनाव चिह्न ‘बंगले’ के इस्तेमाल पर रोक लगा दी थी.
आयोग ने पशुपति पारस से कहा, “आपके अनुरोध पर विचार करने के बाद आयोग ने आपके समूह के लिए ‘राष्ट्रीय लोक जनशक्ति पार्टी’ नाम और चुनाव चिह्न ‘सिलाई मशीन’ का आवंटन किया है.” आयोग ने कहा कि मौजूदा उपचुनाव में अगर उनका गुट किसी को उम्मीदवार बनाता है तो उसे यह चिह्न दिया जाएगा.
2 अक्टूबर को एक अंतरिम आदेश में, चुनाव आयोग ने दोनों गुटों को लोक जनशक्ति पार्टी का नाम या उसके चुनाव चिह्न ‘बंगले’ का उपयोग करने से तबतक रोक दिया था, जब तक कि दोनों गुटों के बीच विवाद का आयोग द्वारा निपटारा नहीं कर दिया जाता.